tag:blogger.com,1999:blog-6474592890557237793.post4878880257880948143..comments2024-03-28T10:26:57.335+05:30Comments on मन पाए विश्राम जहाँ: आजादी बनाम गुलामीAnitahttp://www.blogger.com/profile/17316927028690066581noreply@blogger.comBlogger2125tag:blogger.com,1999:blog-6474592890557237793.post-84747840985777041732011-09-08T17:43:55.225+05:302011-09-08T17:43:55.225+05:30सही बात कही आपने कि अब गुलामी शक्ल सिर्फ बदली है। ...सही बात कही आपने कि अब गुलामी शक्ल सिर्फ बदली है। ये आज़ादी नहीं बल्कि एक आज़ादी का एक भ्रम मात्र है। <br /><br />सादरYashwant R. B. Mathurhttps://www.blogger.com/profile/06997216769306922306noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-6474592890557237793.post-60431392131502426602011-09-08T14:26:37.246+05:302011-09-08T14:26:37.246+05:30बहुत गहरी और सच्ची पोस्ट............सच सब कुछ ही ब...बहुत गहरी और सच्ची पोस्ट............सच सब कुछ ही बदल गया है.........नहीं बदले तो हमारे जैसे कुछ गिने-चुने लोग......कभी लगता है जैसे वक़्त हम जैसों को कहीं पीछे न छोड़ जाये|Anonymousnoreply@blogger.com