मंगलवार, दिसंबर 23

नये वर्ष की इबादत

प्रिय ब्लॉगर मित्रों, एक सप्ताह के लिए इस वर्ष की अंतिम यात्रा पर आज ही निकलना है, उत्तर भारत में भीषण सर्दी है इसके बावजूद..नये वर्ष की शुभकामनाओं के साथ विदा. नये वर्ष के लिए आप सभी को उपहार स्वरूप कुछ पंक्तियाँ प्रस्तुत हैं.
 नये वर्ष की इबादत


जाते हुए बरस की हर घड़ी यही तो नहीं कह रही
बीत गया वसंत एक और आस ज्यों की त्यों रही

दस्तक दे नई भोर, उससे पहले
अधूरे स्वप्नों को फिर से सजाना है
नये वर्ष में यकीनन हर किसी को
गीत जिन्दगी का गुनगुनाना है !

साफ रखना है अपनी गली का हर कोना
गौरैया को दाना चुगाना है,
अधूरा रह गया था जो ख्वाब वर्षों पहले
इस बार तो उसे अंजाम पर पहुँचाना है !

दरियाओं को और नहीं पाटना
जहर फिजाओं में नहीं मिलाना है,
चैन की नींद सो सकें माँ-बाप घरों में
बेटियों को किसी हाल नहीं सताना है !

खिला सके हर बच्चा अपनी शख्सियत को
सूरज तालीम का उगाना है
दम न तोड़े यौवन अंधेरों में
किरदार अपने हिस्से का सबको निभाना है !

छंट जाएँ आतंक के कोहरे वतन के आसमां से
हर जुल्मो सितम से छुड़ाना है,
घरों से दूर हुए नौनिहाल खो गये
बिछुड़े हुओं को फिर से मिलाना है !

जंगलों को काट बेघर कर रहे बाशिंदों को
निज स्वार्थ हित नहीं उन्हें मरवाना है
दरिंदों के चंगुल से निकाल मासूमों को
सुकून से जीने का हक दिलाना है !

नया वर्ष दस्तक दे उससे पहले कुछ नई रस्में बना लें
छूट गये जो पीछे साथी उन्हें साथ चलने को मना लें !

10 टिप्‍पणियां:

  1. आशा और उम्मीद की रचना ...
    नव वर्ष की मंगल कामनाएं ...

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  2. बहुत सुन्दर ..आप को भी नव वर्ष की शुभकामनाएं

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  3. बहुत सुन्दर और सार्थक प्रस्तुति...नव वर्ष की अग्रिम शुभकामनायें!

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  4. नए साल के लिए इनसे अधिक सुंदर संकल्प और क्या होंगे . बस इन्हें पूरा करने का हम अपने आप से वादा करें . आभार .

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  5. बढ़िया सोंच के साथ नए साल के स्वागत की तैयारी!!!

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  6. बहुत ही सुन्दर सार्थक प्रस्तुति

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  7. सच में अनिता जी, जिस संसार में हम आए ,उसे सुन्दरतर करने की यह योजना कितना आश्वस्त करती है !

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  8. सुमन जी, दिगम्बर जी, प्रतिभा जी, ओंकार जी, अनिल जी, गिरिजा जी, प्रतिभा जी, कैलाश जी, माहेश्वरी जी आप सभी का स्वागत व आभार !

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