उस देवी की पूजा करें हम
थामती जो हर विपद में
ज्ञान दीपक पथ दिखाती,
प्राण का आधार भी है
रात्रि बन विश्राम देती !
सौंदर्य देवी कहाए
जगत को आकार देती,
शिव मिलन की प्रेरणा दे
ले स्वयं कैलाश जाती !
ऊर्जा अपार धारे
अनंत का दर्शन कराती,
दात्री बनी सिद्धि रिद्धि
निःशंक जो सदा विचरती !
महातपस्विनी जगत मा
पराम्बा, महायोगिनी,
शिव प्रिया, माँ महागौरी
जगत तोषिणी व पोषिणी !
नवरात्रि की शुभकामनाएं
जवाब देंहटाएंबहुत बढ़िया
जवाब देंहटाएंस्वागत व आभार !
जवाब देंहटाएंबहुत बहुत आभार !
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