सोमवार, दिसंबर 31

नए साल की दुआ

बीता बरस जरूर है
बीत न जाये प्यार,
आने वाले साल में
खुशियाँ मिलें हजार ।

जंग लगे न सोच पर
बना रहे उल्लास,
हर पल यहाँ अमोल है
जो भी अपने पास ।

श्वासों में विश्वास हो
उर में सुर संगीत,
कदमों में थिरकन भरी
कहता जीवन गीत ।

सुख की चादर ओढ़ कर
दुख न आये द्वार ,
पलकों के अश्रु बनें
अधरों पर मुस्कान ।

12 टिप्‍पणियां:

  1. सुख की चादर ओढ़ कर
    दुख न आये द्वार ,
    - यह कह कर आपने चेता दिया ,अच्छा किया .माधुर्य बना रहे !

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  2. उत्तर
    1. आपको भी नूतन वर्ष के लिए मंगलकामनाएं !

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  3. सुरुचि एवं सुसंवेदन से परिपूर्ण कामनाएं नव वर्ष में फलीभूत हों .

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  4. बहुत सुन्दर..नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनायें...

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  5. सुख की चादर ओढ़कर दुःख न आये द्वार ...
    बहतरीन पंक्तियाँ ... नव वर्ष को आशा सब और खुशियाँ लाये ... मंगलमय हो जीवन आपका ...

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  6. आपको भी नूतन वर्ष एक लिए शुभकामनायें !

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