शुक्रवार, मार्च 14

जीवन इक मधुरिम उत्सव है

होली की शुभकामनाएँ 


फागुन मास भरे उल्लास 

पूनम का चाँद जगाये याद, 

उड़ते रंग भरते उमंग 

अबीर, गुलाल, मिटायें मलाल !


मीठी गुझिया भुजिया तीखी

लपट अगन की लौ लगन की, 

छाया वसंत हुआ शीत अंत 

मन मोर थिरक भरे एक ललक !


यह राग-रंग धुन मस्ती की 

बस याद दिलाने ही आती, 

जीवन इक मधुरिम उत्सव है 

कुदरत की हर शै यह गाती !


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