गुरुवार, मार्च 21

होली के रंगों में जाने

होली के रंगों में जाने 

 सभी भाव जल गये द्वेष के 

मन उजले-उजले हो आये , 

जिस पर फिर प्रियतम ने आकर 

मदिर अबीर-गुलाल लगाये !


निखर गये हैं रूप सलोने  

अंतर ज्यों आश्वस्त हुए हैं, 

होली के आने से देखो 

आज ह्रदय मदमस्त हुए हैं !


सभी नज़र आते हैं अपने 

आज एक भी नहीं पराया, 

होली के रंगों में जाने 

छुपा कौन सा राज अनोखा !


दूर-दूर ही रहते थे जो 

आज बने हैं सब हमजोली, 

मिलकर सभी मनाने आये 

प्रीत रंग की सुंदर होली !


14 टिप्‍पणियां:

  1. बहुत सुंदर रचना।
    रंगों का त्योहार जीवन में रंगों की महत्ता बतलाता है इंद्रधनुषी इत्र छिड़क पलों को महकाता है।
    सस्नेह।
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    जी नमस्ते,
    आपकी लिखी रचना शुक्रवार २२ मार्च २०२४ के लिए साझा की गयी है
    पांच लिंकों का आनंद पर...
    आप भी सादर आमंत्रित हैं।
    सादर
    धन्यवाद।

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  2. होली की हार्दिक शुभकामनाएं अनीता जी । बढ़िया गीत है ।

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  3. हिल मिल जाये सबके दिल यही तो होली है...
    बहुत ही सुन्दर
    लाजवाब सृजन ।
    होली पर्व की शुभकामनाएं ।

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  4. बहुत सुन्दर रचना, होली की शुभकामनाएं

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